परिदों की 5 नई प्रजातियां का एसटीआर में आशियाना:बाघों के घर में पहली बार दिखे कश्मीरी फ्लाईकैचर, मैलार्ड समेत 5 पक्षी

सतपुड़ा टाइगर रिजर्व में पक्षियों की प्रजातियां बढ़ रही हैं। प्रवासी पक्षियों ने भी एसटीआर को अपना आशियाना बना लिया। प्रवासी पक्षियों की ऐसी 5 नई रहस्यमयी प्रजातियां सातवें पक्षी सर्वे में सामने आई है, जो यहां पहले कभी नहीं देखी गई। 9 मार्च से जारी पक्षी सर्वे का मंगलवार को समापन हुआ। एसटीआर प्रबंधन ने देर रात सर्वे के प्रारंभिक आंकड़े जारी किए। प्रारंभिक रूप से 11 प्रदेशों से आएं विशेषज्ञों ने पक्षियों की 260 प्रजातियों की पहचान की गई है। जानकारी के मुताबिक सर्वे में शामिल विशेषज्ञों ने रोजाना सुबह, शाम 2-3 घंटे तक अपने-अपने क्षेत्र के जंगल, नदियों किनारे और पेड़ों पर बैठे पक्षियों के फोटो लिए गए। विशेषज्ञों को एसटीआर के जंगल में पहली बार हार्ट स्पॉटेड वुडपेकर, कश्मीरी फ्लाईकैचर, व्हाइट चीक्ड बारबेट, मैलार्ड, रेड हेडेड वल्चर (एसियन किंग वल्चर) के पक्षी दिखाई दिए हैं। एसटीआर पार्क प्रबंधन इसकी सटीक पहचान करने के लिए वाइल्ड लाइफ के पक्षी विशेषज्ञों को पक्षियों के फोटो और अन्य साक्ष्य भेजेगा। एसटीआर डायरेक्टर पूजा नागले ने बताया सर्वे में विशेषज्ञों ने 260 प्रजातियों के पक्षियों के फोटो निकाले हैं। जिसमें 5 पक्षियों की प्रजाति पहली बार एसटीआर सर्वे में मिली है। सर्वे पूर्ण होने के बाद विशेषज्ञों की अलग-अलग टीमें अपना डेटा दे रही हैं। इसका अंतिम मिलान आज बुधवार से होगा। जिसके बाद पक्षियों और प्रजातियों की संख्या बढ़ सकती है। सर्वे में पक्षी विशेषज्ञ, डॉक्टर, इंजीनियर, बैंककर्मी रहे शामिल एसटीआर और वाइल्ड वरियर संस्था के जरिए किए गए सातवें सर्वे में 11 प्रदेश छत्तीसगढ़, गुजरात, महाराष्ट्र, बिहार, तेलंगाना, झारखंड, दिल्ली के 76 प्रतिभागी व 8 स्थानीय प्रकृति गाइड ने हिस्सा लिया। जिनमें रिसर्चर, नैच्युरलिस्ट के साथ कई डॉक्टर, इंजीनियर, बैंककर्मी भी पक्षियों के पहचान करने शामिल हुए। जंगल में बनाए गए 38 कैंपों में रहकर इन लोगों ने सर्वे किया। एसटीआर की डिप्टी डायरेक्टर नागले की मौजूदगी में सर्वे में सभी प्रतिभागियों को प्रमाण पत्र दिए गए।

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सतपुड़ा टाइगर रिजर्व में पक्षियों की प्रजातियां बढ़ रही हैं। प्रवासी पक्षियों ने भी एसटीआर को अपना आशियाना बना लिया। प्रवासी पक्षियों की ऐसी 5 नई रहस्यमयी प्रजातियां सातवें पक्षी सर्वे में सामने आई है, जो यहां पहले कभी नहीं देखी गई। 9 मार्च से जारी पक्षी सर्वे का मंगलवार को समापन हुआ। एसटीआर प्रबंधन ने देर रात सर्वे के प्रारंभिक आंकड़े जारी किए। प्रारंभिक रूप से 11 प्रदेशों से आएं विशेषज्ञों ने पक्षियों की 260 प्रजातियों की पहचान की गई है। जानकारी के मुताबिक सर्वे में शामिल विशेषज्ञों ने रोजाना सुबह, शाम 2-3 घंटे तक अपने-अपने क्षेत्र के जंगल, नदियों किनारे और पेड़ों पर बैठे पक्षियों के फोटो लिए गए। विशेषज्ञों को एसटीआर के जंगल में पहली बार हार्ट स्पॉटेड वुडपेकर, कश्मीरी फ्लाईकैचर, व्हाइट चीक्ड बारबेट, मैलार्ड, रेड हेडेड वल्चर (एसियन किंग वल्चर) के पक्षी दिखाई दिए हैं। एसटीआर पार्क प्रबंधन इसकी सटीक पहचान करने के लिए वाइल्ड लाइफ के पक्षी विशेषज्ञों को पक्षियों के फोटो और अन्य साक्ष्य भेजेगा। एसटीआर डायरेक्टर पूजा नागले ने बताया सर्वे में विशेषज्ञों ने 260 प्रजातियों के पक्षियों के फोटो निकाले हैं। जिसमें 5 पक्षियों की प्रजाति पहली बार एसटीआर सर्वे में मिली है। सर्वे पूर्ण होने के बाद विशेषज्ञों की अलग-अलग टीमें अपना डेटा दे रही हैं। इसका अंतिम मिलान आज बुधवार से होगा। जिसके बाद पक्षियों और प्रजातियों की संख्या बढ़ सकती है। सर्वे में पक्षी विशेषज्ञ, डॉक्टर, इंजीनियर, बैंककर्मी रहे शामिल एसटीआर और वाइल्ड वरियर संस्था के जरिए किए गए सातवें सर्वे में 11 प्रदेश छत्तीसगढ़, गुजरात, महाराष्ट्र, बिहार, तेलंगाना, झारखंड, दिल्ली के 76 प्रतिभागी व 8 स्थानीय प्रकृति गाइड ने हिस्सा लिया। जिनमें रिसर्चर, नैच्युरलिस्ट के साथ कई डॉक्टर, इंजीनियर, बैंककर्मी भी पक्षियों के पहचान करने शामिल हुए। जंगल में बनाए गए 38 कैंपों में रहकर इन लोगों ने सर्वे किया। एसटीआर की डिप्टी डायरेक्टर नागले की मौजूदगी में सर्वे में सभी प्रतिभागियों को प्रमाण पत्र दिए गए।