मुर्गा-मुर्गी के भाव बिक रहे जनप्रतिनिधि:महाराष्ट्र चुनाव को लेकर पटवारी ने बोला हमला; कहा-लोकतंत्र खतरे में

पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने महाराष्ट्र की चुनावी सभाओं के बाद आज प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में कल होने वाली प्रदेश कार्य समिति की बैठक की तैयारियों को लेकर चर्चा की। उन्होंने कहा कि कार्य समिति की बैठक 21 और नवंबर को होने वाली है। इसमें संगठन की मजबूती के लिए ओर मैदानी स्तर पर कार्यकर्ताओं को जिम्मेदारी सौंपने को लेकर निर्णय लिया जाएगा। मोदी पर हमला बोला, कहा-स्वायत्त संस्थाओं को किया ध्वस्त इसके पहले पटवारी ने एक बयान में महाराष्ट्र और झारखंड चुनावों को लेकर पीएम नरेंद्र मोदी पर हमला बोला है। उन्होंने कहा कि पीएम मोदी ने स्वायत्त संस्थाओं को ध्वस्त कर दिया। चुनाव आयोग की मर्यादा को तार-तार कर दिया। भाजपा नेता तावड़े जिस तरह से पांच करोड़ नगद देते पकड़े गए, वह महाराष्ट्र और झारखंड का जन-जन देख रहा हैं। प्रशासन की अकर्मण्यता भी इसमें दिखाई दी। पटवारी ने कहा कि बीजेपी भारत को दुनिया का सबसे भ्रष्ट देश बनाना चाहती है और चुनाव आयोग भी साथ हो गया। विधायक-सांसदों की खरीद फरोख्त खुलेआम हो रही हैं। पटवारी ने कहा-लोकतंत्र खतरे में है महाराष्ट्र चुनाव को लेकर पटवारी ने कहा कि देश में लोकतंत्र खतरे में है, महाराष्ट्र में एक-एक चुनाव 50-50 करोड़ में लड़ा जा रहा हैं। बीजेपी ने गाय, बैल, मुर्गा-मुर्गी और गुलामों की तरह जनप्रतिनिधियों को बिकवाया हैं। महाराष्ट्र में जनता ने बीजेपी के राष्ट्रीय महासचिव को करोड़ों रुपए के साथ पकड़ा, जो केंद्रीय नेता के निर्देश पर पैसे बांटे जा रहे थे। कांग्रेस मंडियों में आंदोलन करेगी प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा है कि किसानों को न्याय दिलाने के लिए कांग्रेस अब मंडियो में आंदोलन करेगी। उन्होंने कहा कि सोयाबीन 6 हजार रुपए प्रति क्विंटल, धान 3100 रुपए और गेहूं के दाम 2700 रुपए प्रति क्विंटल मिलना चाहिए। इस मांग को लेकर दूसरे चरण में अब मंडियों में आंदोलन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में किसानों के साथ कुठाराघात हो रहा हैं। गुना में किसान भगवत किरार ने कहा कि उसे खाद का एक दाना नहीं मिला, मैं 2 दिन बाद उस किसान के घर जा रहा हूं। पटवारी ने कहा देश के कृषि मंत्री जा-जाकर कहानी सुना रहे हैं और एमपी के किसान आत्महत्या करने मजबूर हैं।

मुर्गा-मुर्गी के भाव बिक रहे जनप्रतिनिधि:महाराष्ट्र चुनाव को लेकर पटवारी ने बोला हमला; कहा-लोकतंत्र खतरे में
Follow this link to join my WhatsApp Group
Follow this link to join my WhatsApp Group
Follow this link to join my WhatsApp Group
पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने महाराष्ट्र की चुनावी सभाओं के बाद आज प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में कल होने वाली प्रदेश कार्य समिति की बैठक की तैयारियों को लेकर चर्चा की। उन्होंने कहा कि कार्य समिति की बैठक 21 और नवंबर को होने वाली है। इसमें संगठन की मजबूती के लिए ओर मैदानी स्तर पर कार्यकर्ताओं को जिम्मेदारी सौंपने को लेकर निर्णय लिया जाएगा। मोदी पर हमला बोला, कहा-स्वायत्त संस्थाओं को किया ध्वस्त इसके पहले पटवारी ने एक बयान में महाराष्ट्र और झारखंड चुनावों को लेकर पीएम नरेंद्र मोदी पर हमला बोला है। उन्होंने कहा कि पीएम मोदी ने स्वायत्त संस्थाओं को ध्वस्त कर दिया। चुनाव आयोग की मर्यादा को तार-तार कर दिया। भाजपा नेता तावड़े जिस तरह से पांच करोड़ नगद देते पकड़े गए, वह महाराष्ट्र और झारखंड का जन-जन देख रहा हैं। प्रशासन की अकर्मण्यता भी इसमें दिखाई दी। पटवारी ने कहा कि बीजेपी भारत को दुनिया का सबसे भ्रष्ट देश बनाना चाहती है और चुनाव आयोग भी साथ हो गया। विधायक-सांसदों की खरीद फरोख्त खुलेआम हो रही हैं। पटवारी ने कहा-लोकतंत्र खतरे में है महाराष्ट्र चुनाव को लेकर पटवारी ने कहा कि देश में लोकतंत्र खतरे में है, महाराष्ट्र में एक-एक चुनाव 50-50 करोड़ में लड़ा जा रहा हैं। बीजेपी ने गाय, बैल, मुर्गा-मुर्गी और गुलामों की तरह जनप्रतिनिधियों को बिकवाया हैं। महाराष्ट्र में जनता ने बीजेपी के राष्ट्रीय महासचिव को करोड़ों रुपए के साथ पकड़ा, जो केंद्रीय नेता के निर्देश पर पैसे बांटे जा रहे थे। कांग्रेस मंडियों में आंदोलन करेगी प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा है कि किसानों को न्याय दिलाने के लिए कांग्रेस अब मंडियो में आंदोलन करेगी। उन्होंने कहा कि सोयाबीन 6 हजार रुपए प्रति क्विंटल, धान 3100 रुपए और गेहूं के दाम 2700 रुपए प्रति क्विंटल मिलना चाहिए। इस मांग को लेकर दूसरे चरण में अब मंडियों में आंदोलन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में किसानों के साथ कुठाराघात हो रहा हैं। गुना में किसान भगवत किरार ने कहा कि उसे खाद का एक दाना नहीं मिला, मैं 2 दिन बाद उस किसान के घर जा रहा हूं। पटवारी ने कहा देश के कृषि मंत्री जा-जाकर कहानी सुना रहे हैं और एमपी के किसान आत्महत्या करने मजबूर हैं।